राष्ट्र की एकता अखंडता बनाए रखने में संत महापुरूषों की अहम भूमिका-स्वामी अयोध्याचार्य

हरिद्वार, 4 दिसम्बर। स्वामी जयराम दास महाराज को ब्रह्मपुरी स्थित दूधाधारी आश्रम का महंत नियुक्त किया गया है। श्री रामानंदीय वैष्णव मंडल हरिद्वार एवं वैष्णव मण्डल विरक्त समिति ऋषिकेश के तत्वाधान और साध्वी महंत रामदास के संयोजन में और जगद्गुरू स्वामी अयोध्याचार्य महाराज की अध्यक्षता में आयोजित पट्टाभिषेक समारोह में सभी तेरह अखाड़ों के संत महापुरूषों ने तिलक चादर प्रदान कर स्वामी जयराम दास महाराज को आश्रम का महंत नियुक्त किया। इस अवसर पर जगद्गुरू स्वामी अयोध्याचार्य महाराज ने कहा कि राष्ट्र की एकता अखंडता को बनाए रखने में संत महापुरूषों की अहम भूमिका रही है। उन्होंने कहा कि संत समाज को आशा है कि दूधाधारी आश्रम के नवनियुक्त महंत जयराम दास महाराज गुरू परंपराओं और आश्रम की सेवा संस्कृति को आगे बढ़ाएंगे। श्री रामानंदीय श्री वैष्णव मण्डल हरिद्वार के अध्यक्ष महंत नारायण दास पटवारी ने कहा कि योग्य गुरू को ही सुयोग्य शिष्य की प्राप्ति होती है। नवनियुक्त महंत जयराम दास महाराज गुरू के अधूरे कार्यो को पूरा करते हुए संत सेवा में योगदान करेंगे। महंत रघुवीर दास महाराज ने कहा कि दूधाधारी आश्रम के नवनियुक्त महंत जयराम दास महाराज सनातन धर्म संस्कृति के प्रचार प्रसार में योगदान करेंगे। साध्वी महंत रामदास ने भी महंत जयराम दास को आशीर्वाद प्रदान किया। महंत जयराम दास महाराज ने सभी संत महापुरूषों का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि गुरू से प्राप्त ज्ञान और संत परंपरांओं का पालन करते हुए समाज में आध्यात्मिक चेतना जगाना ही उनका उद्देश्य है। इस अवसर पर महंत दयाराम दास, महंत रघुवीर दास, बाबा हठयोगी, महंत नारायण दास पटवारी, महंत सूरजदास, स्वामी चिदविलासानंद, स्वामी प्रेमानंद, महंत शंभूदास, महंत मुरारी दास, महंत बिहारी शरण, स्वामी सुतिक्ष्ण मुनि, साध्वी महंत गंगादास, स्वामी वृन्दावन दास, महंत राजेंद्रदास सहित बड़ी संख्या में संत महापुरूष और श्रद्धालु मौजूद रहे।